ऑस्ट्रेलिया में मैच जितने के बाद लक्मन ने कहा की में भावुक हो गया था,
उन्होंने कहा कि मैं चाहता था कि भारत ऑस्ट्रेलिया को हराकर सीरीज जीते। खासतौर पर एडिलेड में और गाबा टेस्ट से पहले जो कुछ हुआ उसके बाद लोग कह रहे थे कि भारतीय खिलाड़ी ब्रिस्बेन जाने से डरते हैं, जहां ऑस्ट्रेलिया लंबे समय से मैच नहीं हारी है। ऐसे में यह जीत बहुत महत्वपूर्ण थी। पूर्व बल्लेबाज ने कहा कि मैं दो बार रो चुका हूं। पहली बार जब भारत ने 2011 में विश्व कप जीता था क्योंकि मैं हमेशा विश्व कप विजेता टीम का सदस्य बनना चाहता था। मैंने 2011 विश्व कप विजेता टीम के कई खिलाड़ियों के साथ खेला और उन्होंने विश्व कप जीतने के हमारे सपने को पूरा किया।
लक्ष्मण ने कहा कि मैं हमेशा ऑस्ट्रेलिया को उनके घर में मात देना चाहता था। लेकिन अपने क्रिकेट करियर में मैं ऐसा नहीं कर सका। मुझे गर्व है कि हमारे युवा खिलाड़ियों ने ऐसा करके दिखाया। जब टीम ने ऑस्ट्रेलिया को हराया तो मेरे आंख से आंसू आ गए थे। ना सिर्फ क्रिकेट बल्कि पूरे देश के लिए यह उपलब्धि कितनी प्रेरणा देने वाली है इसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है। बता दें कि भारतीय टीम नेऑस्ट्रेलिया को 4 मैचों की टेस्ट सीरीज में 2-1 से हराकर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी पर अपना कब्जा बरकरार रखा था। टीम इंडिया ने पहली बार गाबा मैदान में कोई टेस्ट जीत हासिल की थी जबकि ऑस्ट्रेलिया को 32 वर्षों में गाबा में किसी टीम के खिलाफ टेस्ट मुकाबले में हार का सामना करना पड़ा था।